अंबिकापुर। अंबिकापुर-कल्याणपुर-प्रतापपुर मुख्य मार्ग पर स्थित ग्राम केरता के शक्कर कारखाना के नजदीक सोमवार की रात जंगली हाथी पहुंच गया। रात में शादी समारोह से लौट रहे पांच युवकों के सामने हाथी आ गया।चार युवक किसी तरह जान बचाकर भाग निकलने में सफल हो गए।एक युवक को हाथी ने सूंड से उठाकर पटक दिया।कुचलने से घटनास्थल पर ही युवक की मौत हो गई।
घटना के बाद काफी देर तक हाथी आसपास ही विचरण करता रहा।भोर में तीन बजे शव को घटनास्थल से बाहर निकाला गया।घटना से ग्रामीणों में भय का माहौल है।जंगली हाथी अभी सिंगरा,धरमपुर क्षेत्र में विचरण कर रहा है।वन विभाग द्वारा जंगली हाथी की निगरानी करने का दावा किया जा रहा है।
जानकारी के अनुसार ग्राम केरता उरांवपारा निवासी जीतन बेक(30), प्रकाश बेक , लच्छू एक्का,आदित्य एक्का तथा एक अन्य युवक ग्राम खेता में चल रहे एक शादी समारोह में शामिल होने गए थे। गांव से लगे पंपापुर में भी विवाह समारोह में इन्हें शामिल होना था । रात लगभग 11 बजे विवाह समारोह में शामिल होने के बाद सभी केरता से पैदल ही पंपापुर जा रहे थे।
उसी दौरान सड़क से लगभग 50 मीटर दूर पर खेत की ओर सभी गए।उन्हें पता नहीं था कि आसपास हाथी की मौजूदगी है।मुख्य मार्ग के नजदीक पहुंचे तो हाथी को देखकर पांचों युवक जान बचाकर भागने लगे।चार लोग तो भाग निकले लेकिन जीतन को हाथी ने सूंड से उठा लिया। हाथी ने उसे उठाकर पटक दिया।
कुचलने से युवक की मौत हो गई। इधर घटनास्थल से जान बचाकर भाग निकले युवकों द्वारा ग्रामीणों को सूचना दी गई तब तक वन विभाग को भी घटना की जानकारी नहीं थी।काफी देर तक जब युवक वापस नहीं लौटा तब लोगों को अंदेशा हो गया कि शायद हाथी के हमले से उसकी मौत हो गई होगी लेकिन घटनास्थल के नजदीक जाना सुरक्षित नहीं था क्योंकि हाथी भी आसपास ही विचरण कर रहा था लगभग चार घंटे बाद हाथी वहां से आगे निकल गया तब जाकर गांव वाले मौके पर पहुंचे तो देखा कि जीतन बेक का शव पड़ा हुआ है।
उसी समय ग्रामीणों के सहयोग से वन कर्मचारियों ने शव को घटनास्थल से बाहर निकलवाया। ग्रामीणों का आरोप है कि हाथियों की निगरानी के नाम पर लापरवाही बरती जा रही है। वन विभाग यह दावा करता है कि हाथियों पर सतत निगरानी की जा रही है लेकिन केरता और पंपापुर के बीच प्रतापपुर मुख्य मार्ग के किनारे हाथी आ गया और किसी को इसकी भनक तक नहीं लगी।
गनीमत रही कि हाथी मुख्य सड़क के किनारे किनारे सिंगरा,धरमपुर की ओर चला गया। यदि हाथी बस्ती की ओर प्रवेश कर जाता तो बड़ी घटना हो सकती थी। मृतक के स्वजनों को वन विभाग द्वारा आर्थिक सहायता राशि दे दी गई है।