
नई दिल्ली। अगर आप अक्सर ट्रेन के जरिए सफर करते है तो यह खबर आपके लिए है। भारतीय रेलवे ने 1 मई से टिकट के नियमों में सख्ती करने जा रहा है। अब वेटिंग टिकट वाले यात्रियों को स्लीपर या एसी कोच में यात्रा की अनुमति नहीं होगी। अगर किसी यात्री के पास वेटिंग टिकट है तो वह सिर्फ जनरल कोच में ही यात्रा कर सकेगा।
एक मई से इस नियम के सख्ती से लागू होने के बाद यात्रियों के वेटिंग टिकट के साथ स्लीपर और एसी कोच में यात्रा करने पर रोक लग जाएगी। अगर कोई यात्री वेटिंग टिकट के साथ स्लीपर और एसी कोच में पाया जाता है तो टीटीई उस पर जुर्माना लगा सकते हैं या उसे जनरल कोच में भेज सकते हैं। उत्तर पश्चिम रेलवे के चीफ पब्लिक रिलेशन ऑफिसर कैप्टन शशि किरण ने बताया कि कन्फर्म टिकट के साथ यात्रा करने वाले यात्रियों की सुविधा के लिए ये नियम बनाया गया है। ताकि वेटिंग टिकट वाले यात्रियों की वजह से कन्फर्म टिकट वाले यात्रियों को सफर में असुविधा न हो।
आमतौर पर यह देखा जाता है कि, वेटिंग टिकट वाले यात्री स्लीपर और एसी कोच में घुसकर कन्फर्म टिकट वाले यात्रियों की सीट पर जबरन बैठने की कोशिश करते हैं, जिससे अन्य यात्रियों को असुविधा होती है। इसके अलावा, स्लीपर और एसी कोच में वेटिंग टिकट वाले यात्रियों की संख्या बढ़ने पर आने-जाने का रास्ता भी बंद हो जाता है, जिससे न सिर्फ यात्रियों को असुविधा होती है बल्कि उनकी यात्रा भी काफी मुश्किल हो जाती है।
इतना लगता सकता है जुर्माना
अगर कोई व्यक्ति स्लीपर कोच में वेटिंग टिकट के साथ यात्रा करता पकड़ा जाता है तो उस पर 250 रुपये जुर्माना लगाया जा सकता है। इसके अलावा, यात्रा का पूरा किराया भी वसूल किया जाएगा और दूरी के हिसाब से एक्स्ट्रा चार्ज भी देना पड़ सकता है। वहीं अगर काई यात्री थर्ड एसी या सेकंड एसी कोच में वेटिंग टिकट के साथ यात्रा करता हैं तो उसे जुर्माना और भी ज्यादा देना पड़ सकता है। इस स्थिति में यात्री को 440 रुपये के साथ-साथ यात्रा का किराया भी भरना पड़ेगा। इसके साथ ही टीटीई को यह अधिकार है कि वह यात्री को जनरल कोच में भेज दे या अगले स्टेशन पर ट्रेन से उतार दे।वहीं, फर्स्ट क्लास में बिना टिकट सफर करने पर भी भारी जुर्माना लगाया जा सकता है। इसके अलावा, भारतीय रेलवे के नियमों के अनुसार, बिना टिकट यात्रा करने पर अधिकतम 1000 रुपये का जुर्माना और छह महीने तक की जेल भी हो सकती है।