Parliament Breach Case: ‘अब समय नजदीक आ गया, कुछ भी कर गुजरने…’, सागर की डायरी में लिखी बातों से साजिश उजागर

नई दिल्ली। संसद की सुरक्षा को भेदकर सदन में कूदने वाले उत्तर प्रदेश के लखनऊ के रहने वाले सागर शर्मा के घर से एक डायरी मिली है। डायरी में उसने चौंकाने वाली बातें लिखी हैं। डायरी में उसने एक तरफ डर और दूसरी तरफ कुछ भी कर गुजरने की आग भी दहकने का जिक्र किया है।

सागर शर्मा ने लिखा आज लगभग पांच वर्षों बाद मैंने लिखना शुरू किया है। इन पांच वर्षों का अपना व्यक्तिगत अनुभव इस डायरी में लिखने की जरूरत महसूस हुई। अब आगे भी लिखने की मानसिक स्थिति बनेगी या नहीं यह स्पष्ट नहीं कह सकता पर सच कहूं तो मैं बहुत इच्छुक भी हूं अपनी मानसिकता, दृष्टिकोण और उद्देश्य को लेखन के जरिए पाठकों से साक्षात्कार करा सकूं तथा अपने समाज के वर्तमान को आपके लिए पारदर्शी बना सकूं। ब्रहांड की शुरुआत से धरती पर इंसानों के मानसिक समाजीकरण तक वास्तविकता की व्याख्या करना जरूरी है। 

सागर ने आगे लिखा कि घर से विदा लेने का समय पास है। कुछ भी कर गुजरने की आग दहक रही है। आगे लिखा- काश मैं अपनी ‘स्थिति माता-पिता को समझा सकता, मगर ऐसा नहीं है कि मेरे लिए संघर्ष की राह चुनना आसान है। 

पांच वर्षों से उम्मीद लगाए प्रतीक्षा की है कि एक दिन आएगा जब में अपने कर्तव्य की और बढ़ूंगा। दुनिया में ताकतवर व्यक्ति वह नहीं, जो छीनना जानते हैं। ताकतवर व्यक्ति वह है, जो हर सुख त्यागने की क्षमता रखता है।

डायरी में सागर शर्मा ने शायरी भी लिखी है।

दर्द अपने वतन का मुझसे देखा जाता नहीं,
दुश्मन के आगे झुकना मैं किसी को सिखाता नहीं, 
कर दूंगा आवाज को मैं अपनी बुलंद, फिर सुनेगी ये कातिलों की महफिल और सुनेगा आसमां,
भिगो कर लहू से मैं अपने इस जमीन को दिखा दूंगा इक दिन इस कदर वतन को अपने कोई आशिक चाहता नहीं।।

हमको न चैन है न अब होश 
उबला फिर आज लहू रंगो का हर शख्स में, जागा जज्वा कुर्बानी का मौत के आगोश में, दिल में है चिंगारी कुछ ऐसी, हमको न चैन है न अब होश…। अब इंकलाब ने ली अंगड़ाई फिर इस वतन में यारों, हक न लूटे जाएंगे अब गरीब के और किसानों के….। दर्द अपने वतन का मुझसे देखा जाता नहीं, दुश्मन के आगे झुकना मैं किसी को सिखाता नहीं। जिस कमरे में यह डायरी मिली, उसमें शहीद भगत सिंह की कई फोटो लगी हुई हैं।

इन धाराओं में दर्ज हुए मामले
आरोपियों के खिलाफ भारतीय दंड संहिता और गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (यूएपीए) की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है। भारतीय दंड संहिता की धारा 120 बी, 453, 153, 186, 353 और यूएपीए की धारा 16 और 18 के तहत पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज किया है। 

ये था घटनाक्रम
यह घटना बुधवार दोपहर एक बजकर एक मिनट पर हुई। लोकसभा में पीठासीन अधिकारी राजेंद्र अग्रवाल शून्य काल की कार्यवाही को संचालित कर रहे थे। मालदा उत्तर से भाजपा सांसद खगेन मुर्मू अपनी बात रख रहे थे। तभी दो शख्स दर्शक दीर्घा से नीचे कूद गए।

नीले रंग की जैकेट पहना एक शख्स सांसदों की सीट पर कूदने लगा। वह लगभग तीन कतार लांघकर आसन की तरफ जाने लगा। अफरा-तफरी के माहौल के बीच कुछ सांसदों ने हिम्मत दिखाकर उसे घेर लिया। मार्शल भी दौड़कर आ गए। तभी उस युवक ने जूते के अंदर से कुछ पदार्थ निकाला। इसके बाद वहां पीले रंग का धुआं उठने लगा। बाद में सांसदों और मार्शलों ने मिलकर दोनों को पकड़ लिया। इसके बाद पीठासीन अधिकारी ने कार्यवाही स्थगित कर दी।

घटना के छह आरोपी गिरफ्तार

 इस घटना के छह आरोपी पुलिस गिरफ्त में आ चुके हैं। मास्टरमाइंड ललित झा भी पुलिस की गिरफ्त में आ गया है। पुलिस मामले की जांच में जुटी है। अब दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल शनिवार या रविवार को आरोपियों को संसद परिसर में ले जाकर सीन रिक्रिएट करेगी। स्पेशल सेल संसद सुरक्षा उल्लंघन की तस्वीर को फिर से बनाएगी। सूत्रों के मुताबिक, क्राइम सीन को रीक्रिएट करने के लिए आरोपियों को संसद ले जाया जाएगा।