छत्तीसगढ़ः पितृपक्ष से पहले 33’गढ़’, CM 9 सितंबर को करेंगे मनेंद्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर जिले का उद्घाटन; 10 को सक्ती होगा साकार 

रायपुर। छत्तीसगढ़ में इस सप्ताह जिलों की संख्या 33 हो जाएगी। यह जिले कोरिया और जांजगीर-चांपा जिले से अलग होकर बन रहे हैं। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल 9 सितम्बर को मनेंद्रगढ़- चिरमिरी-भरतपुर जिले का उद्घाटन करने वाले हैं। यह कोरिया से अलग होगा। वहीं 10 सितम्बर को जांजगीर-चांपा से अलग होकर बने सक्ती जिले का उद्घाटन होना है। 11 सितम्बर से पितृ पक्ष शुरू हो रहा है। पिछले सप्ताह तीन नए जिलों का उद्घाटन हुआ था।

छत्तीसगढ़ नवम्बर 2000 में मध्य प्रदेश से अलग होकर नया राज्य बना। उस समय यहां 16 जिले थे। 2007 में तत्कालीन भाजपा सरकार ने बस्तर संभाग में दो नए जिले नारायणपुर और बीजापुर का गठन किया। 2012 में यहां 9 और प्रशासनिक जिले बनाए गए। उन जिलों में सुकमा, कोण्डागांव, बालोद, बेमेतरा, बलौदा बाजार-भाटापारा, गरियाबंद, मुंगेली, सूरजपुर और बलरामपुर-रामानुजगंज शामिल थे। कांग्रेस सरकार ने 2020 में बिलासपुर जिले को विभाजित कर गौरेला-पेण्ड्रा-मरवाही के नाम से नया जिला बना दिया। यह प्रदेश का 28वां जिला बना।

2021 में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने चार नये प्रशासनिक जिलों के गठन की घोषणा की। ये जिले थे मोहला-मानपुर-अम्बागढ़ चौकी, सारंगढ़-बिलाईगढ़, सक्ती और मनेंद्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर। मार्च 2022 में खैरागढ़ विधानसभा उप चुनाव के प्रचार में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने खैरागढ़ को नया जिला बनाने का चुनावी वादा किया। अप्रैल में कांग्रेस उम्मीदवार की जीत होते ही नए खैरागढ़-छुईखदान-गंडई नाम से नये जिले की घोषणा हो गई।

मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने पिछले सप्ताह तीन जिलों मोहला-मानपुर-अम्बागढ़ चौकी, सारंगढ़-बिलाईगढ़ और खैरागढ़-छुई खदान-गंडई का उद्घाटन कर दिया। अब शेष बचे दो जिलों का औपचारिक उद्घाटन किया जाना है। पहले यह उद्घाटन 10 और 11 सितम्बर को प्रस्तावित था। 11 सितम्बर से पितृ पक्ष शुरू हो रहा है। धार्मिक मान्यताओं के मुताबिक इस पक्ष में देव पूजा, अनुष्ठान और मंगल कार्य नहीं होते। ऐसे में नये जिले के उद्घाटन की तारीख को एक दिन पहले कर दिया गया है।

अब ऐसा होगा नये जिले मनेंद्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर का मानचित्र।

अब ऐसा होगा नये जिले मनेंद्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर का मानचित्र।

1998 में बना था कोरिया, अब बंटकर मनेंद्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर बनेगा

नये जिले मनेंद्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर को कोरिया जिले से अलग कर बनाया गया है। खुद कोरिया जिला 1998 में ही सरगुजा जिले से अलग कर बनाया गया था। अब इसकी सीमाएं उत्तर में मध्य प्रदेश के सीधी जिले की कुसमी तहसील, मध्य प्रदेश का सिंगरौली जिला, दक्षिण में कोरबा जिले की पोड़ी-उपरोड़ा और सूरजपुर की रामानुजनगर तहसील आएगी। पूर्व में कोरिया की बैकुण्ठपुर और सोनहत तहसील। पश्चिम में जिला गौरेला-पेंड्रा-मरवाही और मध्य प्रदेश का अनूपपुर और शहडोल जिला आएगा। इस जिले की अनुमानित जनसंख्या चार लाख 11 हजार 515 बताई जा रही है। इसमें उपखंड मनेन्द्रगढ़, तहसील मनेन्द्रगढ़ एवं केल्हारी तथा उपखंड भरतपुर, तहसील भरतपुर तथा उपखंड खड़गंवा-चिरमिरी, तहसील खड़गंवा को शामिल किया गया है।

जांजगीर-चांपा और सक्ती जिले अब इस तरह नजर आएंगे।

जांजगीर-चांपा और सक्ती जिले अब इस तरह नजर आएंगे।

सक्ती पहले से शिक्षा जिला था, अब प्रशासनिक मुख्यालय भी

जांजगीर-चांपा का सक्ती शिक्षा विभाग के लिए पहले से ही जिला था। अब यह प्रशासनिक जिला भी बनने जा रहा है। नए जिले में उपखंड सक्ती की तहसील सक्ती, मालखरौदा, जैजैपुर और उपखंड डभरा की तहसील डभरा सहित कुल 5 तहसीलें शामिल होंगी। इसके उत्तर में कोरबा जिले की करतला तहसील, दक्षिण में सारंगढ़-बिलाईगढ़ जिले का सारंगढ़, पूर्व में रायगढ़ जिले का खरसिया और पश्चिम में जांजगीर-चांपा जिले के सारागांव, बम्हनीडीह तहसील आएगी। जिले का कुल क्षेत्रफल एक लाख 51 हजार 976 वर्ग किलोमीटर है। 2011 जनगणना के अनुसार जिले की आबादी 6 लाख 47 हजार254 है। इसमें कुल गांवों की संख्या 465 है।