मणिपुर हिंसा : इस्तीफे का सवाल ही नहीं, अगर केंद्र बोले…, मणिपुर के सीएम एन बीरेन सिंह ने कहा- मुझे जनता ने चुना है

नईदिल्ली : मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह ने साफ कर दिया है कि वह अपने पद से इस्तीफा नहीं देंगे. राज्य में जारी हिंसक घटनाओं को लेकर लगातार कानून व्यवस्था पर सवाल उठाए जा रहे हैं और मुख्यमंत्री के इस्तीफे की भी मांग उठ रही है. इस बीच उन्होंने एक इंटरव्यू में कहा कि इस्तीफे का तो सवाल ही नहीं हैं, लेकिन केंद्रीय नेतृत्व बोले तो पर वह ऐसा करने को तैयार हैं.

दो महिलाओं को निर्वस्त्र कर परेड कराने का वीडियो सामने आने के बाद विपक्ष मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह के इस्तीफे की मांग उठा रहा है. रिपोर्ट के मुताबिक, बीरेन सिंह से सवाल किया गया कि उनके इस्तीफे की चर्चाएं हो रही हैं और इस तरह की भी बातें हो रही हैं कि बीजेपी उनसे इस्तीफे के लिए कह सकती है. इसके जवाब में उन्होंने कहा कि मणिपुर की जनता ने उन्हें चुना है. उन्होंने कहा, “इस्तीफे का सवाल ही नहीं है, लेकिन हां, अगर केंद्रीय नेतृत्व कहता है और मणिपुर की जनता चाहेगी तो मैं अपना पद छोड़ दूंगा.”

सीएम ने कहा, मुझसे किसी ने इस्तीफ के लिए नहीं कहा
उन्होंने कहा कि वह दुनिया की सबसे बड़ी राजनीतिक पार्टी के कार्यकर्ता हैं और राज्य के मुख्यमंत्री हैं. उन्होंने कहा, “केंद्रीय नेतृत्व जो भी आदेश देगा मुझे उसका पालन करना होगा. फिलहाल के लिए मेरी पहली जिम्मेदारी मणिपुर में कानून व्यवस्था कायम करना और जल्द से जल्द शांति बहाल करना है. किसी ने अभी तक मुझसे इस्तीफे के लिए नहीं कहा है.”

उन्होंने राज्य के हालातों के लिए गैरकानूनी तरीके से राज्य में आने वालों और ड्रग स्मगलर को जिम्मेदार ठहराया और कहा कि हमने इस पर लगाम लगाने के लिए पूरी कोशिश की. उन्होंने कहा कि राज्य में 34 जनजातियां हैं, जिनमें कूकी और मैतई भी शामिल हैं. जो लोग यहां पहले से रह रहे हैं उनमें एकता है, लेकिन कुछ लोग रैलियां करने के नाम पर राज्य को जला रहे हैं.

मुख्यमंत्री ने कहा, कानून व्यवस्था कायम करने के लिए कर रहे काम
मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि हम लगातर इस पर नजर रख रहे हैं कि कोई अवैध तरीके से राज्य में प्रवेश तो नहीं कर रहा है. उन्होंने कहा कि राज्य और केंद्र सरकार सेना के साथ मिलकर राज्य में कानून व्यवस्था बनाने के लिए काम कर रहे हैं और उम्मीद है कि जल्द ही हालात सामान्य हो जाएंगे.

इस दौरान, उनसे महिलाओं की हत्या और दुष्कर्मों को लेकर सरकार की तरफ से उठाए गए कदमों पर भी सवाल किया गया, जिस पर उन्होंने कहा कि कुल 6,068 एफआईआर में से एक दुष्कर्म का भी मामला है. उन्होंने दावा किया कि पिछले हफ्ते कार सर्विस सेंटर पर दो महिलाओं की हत्या के मामले में दुष्कर्म की पुष्टि नहीं हुई है.