रायपुर। प्रदेश में सिंघल ग्रुप के कई ठिकानों पर आईटी की टीम ने बुधवार को दबिश दी। ये कार्रवाई केवल छत्तीसगढ़ तक ही सीमित नहीं रही बल्कि कोलकाता और मुंबई में भी टीम ने जांच की है। जहां 22 ठिकानों से पहले दिन 13 लॉकर, 20 लाख नगद और 50 लाख की ज्वेलरी मिली है।
आयकर की टीम ने सिंघल इंटरप्राइजेस के प्रतिष्ठानों में दबिश दी। इसके संचालक संजय सिंघल और अजय सिंघल हैं। आईटी सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक ये छापेमारी रायगढ़, सारंगढ़, रायपुर, मुंबई, और कोलकाता स्थित प्लांट, दफ्तरों और घरों में की गई। ग्रुप 30 सालों से भी पुराना बताया जा रहा है। इंटरप्राइजेस मुख्य फर्म के अधीन बाकी सारी कंपनियां है। इनमें पूंजीपतरा स्थित सिंघल प्लांट, सालासर प्लांट, श्याम इस्पात और सिंघल एनर्जी शामिल हैं।
इसके अलावा इस ग्रुप का फाइनेंस का भी कारोबार है। समूह के लोगों के शंकर नगर, अवंति विहार, चौबे कालोनी, मोवा और खम्हारडीह के दफ्तर निवास पर भी जांच जारी है। बताया गया कि हाल ही में सिंघल उद्योग ने सालासर उद्योग को टेकओवर किया था। जिसके चलते इनकम टैक्स की रडार में दोनों उद्योग आ गए हैं।
रायगढ़ के कालिंदी कुंज स्थित एक सीए के अलावा बंजारी मार्ग पर स्थित सिंघल उद्योग और गेरवानी स्थित सालासर उद्योग में टीम ने पहुंचकर दस्तावेजों की जांच की है। सिंघल ग्रुप को प्रदेश के बड़े कारोबारी समूह में गिना जाता है। आयकर के सौ अफसरों की टीम सीआरपीएफ की सुरक्षा के साथ डटी हुई है। ज्यादातर आयकर अफसर मध्यप्रदेश सर्किल से आए हुए है। टीम का नेतृत्व उपायुक्त डीएस मीणा कर रहे हैं। टीमें तड़के 5 बजे जब घरों में पहुंची तो सभी डायरेक्टर्स मौजूद मिले।
IT को मिले अहम दस्तावेज, जांच अभी जारी।
रायगढ़ में ग्रुप के एकाउंटेंट के यहां भी टीम पड़ताल कर रही है। जांच अभी कम से कम 3-4 दिन चल सकती है। पहले दिन की पड़ताल में कुछ शैल कंपनियों की जानकारी भी मिली है। अफसर इसकी तस्दीक कर रहे हैं। इसके साथ ही रायपुर, रायगढ़ के बैंकों में 13 लॉकर्स मिले हैं जिन्हें सीज किया गया है। दोनों भाइयों के घरों से 50 लाख का सोना और 20 लाख रुपए नगद मिला है। अफसरों ने चार लाख रुपए और पूरी ज्वेलरी सीज की है। अभी इनका मूल्यांकन कराया जाना बाकी है।