कोरबा। कोरबा में मेडिकल कारोबारी के सुसाइड केस में नया खुलासा हुआ है। आत्महत्या करने से पहले युवक के मोबाइल पर 40 मिस कॉल मिले हैं। माना जा रहा है कर्जदारों की धमकी से ही मेडिकल कारोबारी ने इस तरह से आत्मघाती कदम उठाने मजबूर हुआ होगा। पुलिस ने मोबाइल जब्त कर साइबर सेल की मदद से उसकी जांच शुरू कर दी है। दरअसल, मेडिकल व्यावसायी युवक के फांसी लगाने के बाद पुलिस ने उससे सुसाइड नोट बरामद किया है, जिसमें उसने कर्ज से परेशान होकर आत्महत्या करने का जिक्र किया है। मामला दर्री थाना क्षेत्र का है।
जमनीपाली स्थित साड़ा कालोनी के सरदार बल्लभ भाई पटेल नगर निवासी हितेश पांडेय (36) मेडिकल एजेंसी संचालक थे। बीते मंगलवार को उसने अपने घर में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। जिस समय यह घटना हुई, उस समय उसकी पत्नी घर से बाहर थीं। दोपहर में उसने पति के मोबाइल पर कॉल किया, तब उसने फोन रिसीव नहीं किया। अनहोनी की आशंका से उसने अपनी ननंद और सास को कॉल किया। तब परिजन कमरे में जाकर देखे तो हितेश फांसी पर लटक रहा था। पुलिस इस केस की जांच कर रही है।
मोबाइल में मिले 40 से अधिक मिस कॉल
इस घटना की जानकारी मिलते ही पुलिस भी मौके पर पहुंच गई। पुलिस ने उसके पास से सुसाइड नोट बरामद किया है। इसके साथ ही युवक के मोबाइल को भी पुलिस ने जब्त किया है। ताकि, उसकी मौत के कारणों का पता लगाया जा सके। हितेश के मोबाइल में 40 से अधिक मिस कॉल मिले हैं। माना जा रहा है कि आत्महत्या करने से पहले उसे कर्जदारों ने फोन कर धमकी दी होगी। बहरहाल, पुलिस मोबाइल कॉल डिटेल खंगाल रही है और संदेहियों की जानकारी जुटा रही है।
सट्टेबाजी के चलते कर्ज में डूबा कारोबारी
परिजनों के अनुसार हितेश का कारोबार ठीक-ठाक चल रहा था। उसकी मेडिकल एजेंसी से कोरबा समेत दूसरे जिलों के मेडिकल स्टोर में दवाइयां सप्लाई की जाती थी। वह करीब साल भर पहले अपने पैसे इन्वेस्ट करने के बहाने अनाप-शनाप खर्च करने लगा। यहां तक अपनी मां के अकाउंट में जमा पैसों को भी उसने निकाल लिया। इसकी जानकारी सामने आने पर परिजनों ने उससे पूछताछ भी की। तब पहले उसने गुमराह किया और बाद में कर्जदारों के परेशान करने पर सट्टेबाजी में पैसा लगाने की बात कही। बताया जा रहा है कि उसने शहर के दूसरे कारोबारियों और सूदखोरों से भी कर्ज लिया था, जिसमें से कई लोग उसे फोन कर लगातार परेशान कर रहे थे। यहां तक उनकी पत्नी के मोबाइल में भी कॉल करने लगे थे। पुलिस मोबाइल कॉल डिटेल के साथ ही अब उसके कारोबार और दूसरे अकाउंट की जांच करेगी, तब इस केस में आत्महत्या के कारणों का पता चल सकेगा।
घर का इकलौता बेटा था हितेश
मृतक हितेश के पिता स्व. रामबिलास पांडेय एनटीपीसी में इंजीनियर थे। रिटायर होने के बाद उनकी मौत हो चुकी है। उनकी दो बहनें हैं, जिनकी शादी हो चुकी है। वह अपने घर का इकलौता बेटा था। उसकी पत्नी के साथ डेढ़ साल का मासूम बेटा भी है। उसकी मौत के बाद परिवार का आसरा ही छीन गया है।
पत्नी के साथ जाने वाला था हितेश
घटना के दिन सुबह हितेश ने अपनी पत्नी को बच्चे के साथ उसके पुरानी बस्ती स्थित मायके भेज दिया। इस दौरान हितेश खुद उन्हें अपने साथ लेकर जाने वाला था। लेकिन, अचानक उसने तबीयत खराब होने की बात कही और साथ जाने से मना कर दिया। सुबह करीब 10 बजे उसने अपनी पत्नी से बात भी किया था और जल्दी घर आने की बात कही थी।
सुसाइड नोट में लिखा टाइम, व परिजनों से मांगी माफी
हितेश के पास से पुलिस ने सुसाइड नोट बरामद किया है, जिसमें उसने टाइम और डेट भी लिखा है। सुसाइड नोट में हितेश ने लिखा है कि मैं अपने कर्जे से परेशान हूं और दिवालिया हो गया हूं, मेरे पास मरने के अलावा कोई चारा नहीं बचा है। उसने आत्महत्या के लिए खुद को ही जिम्मेदार बताया है। अपनी मां से माफी मांगते हुए हितेश ने लिखा है कि मम्मी माफ कर देना मैं आपसे बहुत प्यार करता हूं। साथ ही पत्नी आशा के लिए sorry आशा लिखा है और बच्चे के लिए बाबू I Love You लिखा है। अपनी दोनो बहनें गुड़िया और बाबी से भी उसने माफी मांगी है।