जगदलपुर। बस्तर जिले में 22 साल की सीमा यादव की हत्या मामले ने अब तूल पकड़ लिया है। सीमा के परिजनों समेत यादव समाज ने आरोपियों को फांसी की सजा देने की मांग की है। शनिवार की रात सैकड़ों लोगों ने जगदलपुर में रैली निकाल कर प्रदर्शन किया है। लोगों ने कहा कि, पुलिस ने इस मामले के 3 आरोपियों को गिरफ्तार किया है। लेकिन, उनकी कार्रवाई से हम संतुष्ट नहीं हैं। मामला जिले के बोधघाट थाना क्षेत्र का है।
जानकारी के मुताबिक, जगदलपुर के तितरकुटी की रहने वाली सीमा यादव की 27 सितंबर को उसके पति शंकर पांडेय ने गला घोंटकर हत्या कर दी थी। फिर पिता और भाई के साथ मिलकर शव को दफना दिया था। इस मामले में पुलिस ने तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर शुक्रवार को जेल भेज दिया है। इधर, आरोपियों की गिरफ्तारी के बाद भी परिजन और यादव समाज के लोग संतुष्ट नहीं हैं। उनका कहना है कि, आरोपियों को जेल नहीं बल्कि फांसी की सजा दी जाए।
सीमा और उसका पति शंकर पांडेय।
रैली निकाल किया विरोध
शनिवार की रात जगदलपुर में यादव समाज के सैकड़ों लोगों ने विशाल रैली निकाली। इनमें महिलाओं की संख्या ज्यादा थी। सीमा की मां अनिता यादव ने कहा कि, मेरी बेटी को पूरे खानदान ने मिलकर बेदर्दी से मारा है। सभी को फांसी पर चढ़ाया जाए। तभी मेरी मृत बेटी को न्याय मिलेगा। यादव समाज के अध्यक्ष संतोष यादव ने कहा कि, पुलिस ने बताया है कि, शंकर पांडेय ने हत्या की। उसके पिता चिंतामणी पांडेय और भाई विक्रम पांडेय के साथ मिलकर शव को दफनाया। लेकिन, ऐसा नहीं है, तीनों ने साथ मिलकर दरिंदगी से हत्या की है।
मृतिका की मां।
ऐसे दिया था वारदात को अंजाम
जगदलपुर के परउगुड़ा का रहने वाला युवक शंकर पांडेय (25) और तेतरकुटी की रहने वाली युवती सीमा यादव (22) ने करीब 8 से 9 महीने पहले लव मैरिज की थी। शादी के बाद से ही उसका पति शंकर पांडेय चरित्र पर शक करता था। कई बार दोनों के बीच विवाद भी हुआ था। सीमा पति को छोड़कर घर भी गई थी। हालांकि, फिर मान मनव्वल के बाद वापस शंकर के साथ रह रही थी। फिर, 27 सितंबर को शंकर पत्नी सीमा को गिरोला मंदिर दर्शन करवाने लेकर गया। जिसके बाद रास्ते में उसने सुनसान इलाका देखकर पत्नी का गला घोंट कर मार दिया।
रैली में महिलाओं की संख्या अधिक थी।
फिर उसके शव को झाड़ियों में ही छिपा दिया था। वारदात को अंजाम देने के बाद अपने घर लौटा फिर पिता चिंतामणी पांडेय (51) और छोटे भाई विक्रम पांडेय (19) को इसकी जानकारी दी। फिर देर रात तीनों जंगल पहुंचे। वहां से शव को उठाया और फिर कुछ दूरी पर ले जाकर दफना दिए। वारदात के बाद शंकर ने अपनी पत्नी के परिजनों से कहा था कि, दोनों मंदिर गए थे। मैं आ गया और सीमा बाजार गई है कहकर निकली थी, लौटी नहीं।
शुक्रवार को जेल भेजा गया।
मृतिका के पिता ने लिखवाई थी रिपोर्ट
इस मामले के बाद बेटी की गुमशुदगी की उसके पिता ने रिपोर्ट लिखवाई थी। शंकर उसी दिन से फरार हो गया था। पुलिस को इसपर संदेह था। जिसे ढूंढने का प्रयास किया जा रहा था। पुलिस ने सायबर सेल की मदद से पता लगाया। जिसमें 1 महीने के अंदर यह ओडिशा, उत्तर प्रदेश, झारखंड और बिहार इन 4 राज्यों में अलग-अलग लोकेशन दिखाया। जिसके बाद पुलिस इसे पकड़ने इन जगहों पर घूमती रही। अंत में ओडिशा के पुरी से इसे पकड़ा गया।
शव को कब्र से निकाला गया था।
पूछताछ में खोला हत्या का राज
जब पुलिस शंकर पांडेय को पकड़ कर लाई तो इसने हत्या का सारा राज खोल दिया। इसने पुलिस को वह जगह दिखाई जहां इसने शव को दफनाया था। गुरुवार को पुलिस ने SDM की मौजूदगी में शव को निकाल लिया था। शव को पोस्टमार्टम के लिए अस्पताल भिजवाया गया है। आरोपी तीनों पीता, पुत्र को जेल भेज दिया गया है। जगदलपुर में ASP निवेदिता पॉल ने प्रेस वार्ता लेकर पूरे मामले का खुलासा किया है।